‘अमेरिका के साथ सुधारेंगे संबंध’, पीएम बनने के लिए कौन सा दांव खेल रहे हैं इमरान, जानें

Imran Khan reveal in his latest interview that he is not blaming US for his removal from PM Post


इस्लामाबाद/लंदन: इमरान खान ने कहा है कि वह फिर से पाकिस्तान का प्रधानमंत्री निर्वाचित होने पर अमेरिका के साथ संबंध सुधारना चाहते हैं और वह प्रधानमंत्री पद से उन्हें हटाए जाने के लिए अब उसे दोष नहीं देते. ऐसा कहकर पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री खान ने अपने पहले के बयान से एक तरह से ‘यू-टर्न’ लिया है. खान का आरोप था कि अमेरिका ने तत्कालीन विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव का समर्थन देकर उन्हें सत्ता से हटाने का षड्यंत्र रचा है. इसी साल अप्रैल महीने में अविश्वास प्रस्ताव में सत्ता से बाहर हो गए खान (70) अब तक दावा करते थे कि उन्हें पद से हटाए जाने के लिए मौजूदा प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और पाकिस्तान के शीर्ष सुरक्षा भागीदार अमेरिका की साजिश थी. अमेरिका ने पाकिस्तान को अरबों डॉलर की सैन्य सहायता प्रदान की है.

खान दावा करते थे कि विपक्ष का अविश्वास प्रस्ताव चीन और रूस जैसे देशों के साथ पाकिस्तान के संबंधों पर उनकी स्वतंत्र विदेश नीति के चलते एक विदेशी साजिश का परिणाम था. खान साथ ही यह भी दावा करते थे कि उन्हें सत्ता से बेदखल करने के लिए विदेशों से धन का इस्तेमाल किया जा रहा था. खान ने ‘फाइनेंशियल टाइम्स’ के साथ एक साक्षात्कार में कहा कि वह अब अमेरिका को ‘दोष’ नहीं देते और फिर से निर्वाचित होने पर ‘‘सम्मानजनक’’ संबंध चाहते हैं. खान पर हाल ही में घातक हमला हुआ था जिसमें वह घायल हो गए थे. उन्होंने कथित साजिश के बारे में ब्रिटेन के समाचार पत्र से कहा, ‘‘जहां तक ​​​​मेरा संबंध है, यह खत्म हो गया है…’’ हालांकि प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और अमेरिका दोनों कथित षड्यंत्र से इनकार करते रहे हैं.

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खान दावा करते रहे हैं कि अमेरिकी विदेश विभाग में दक्षिण एशिया संबंधी शीर्ष अमेरिकी अधिकारी डोनाल्ड लू उनकी सरकार को गिराने की ‘विदेशी साजिश’ में शामिल थे. समाचार पत्र ने खान के हवाले से कहा, ‘‘मैं जिस पाकिस्तान का नेतृत्व करना चाहता हूं, उसके सभी के साथ अच्छे संबंध होने चाहिए, खासकर अमेरिका के साथ.’’ उन्होंने कहा, ‘‘अमेरिका के साथ हमारा संबंध एक मालिक-सेवक का रहा है… लेकिन इसके लिए मैं अमेरिका से ज्यादा अपनी सरकारों को दोषी ठहराता हूं.’’

पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के अध्यक्ष खान को इस महीने की शुरुआत में दाहिने पैर में गोली लगी थी, जब दो बंदूकधारियों ने उन पर तब गोलियां चलायी थीं जब वह वजीराबाद इलाके में एक कंटेनर ट्रक पर खड़े थे. घटना के समय वह सरकार के खिलाफ मार्च का नेतृत्व कर रहे थे. खान ने हमले की साजिश का आरोप पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शरीफ, गृह मंत्री राणा सनाउल्लाह और मेजर जनरल फैसल नसीर पर लगाया है.

खान ने कहा कि राजनीतिक स्थिरता बहाल करने के लिए जल्द चुनाव ही एकमात्र तरीका है. उन्होंने सत्ता में लौटने पर अर्थव्यवस्था के लिए विशिष्ट योजनाओं की रूपरेखा नहीं दी, लेकिन चेतावनी दी कि अगर चुनाव जल्द नहीं हुए तो ‘‘स्थिति संभालना किसी के लिए भी बहुत मुश्किल हो सकता है.’’ खान ने सेना पर पूर्व में स्वतंत्र संस्थानों को कमजोर करने के लिए शरीफ परिवार जैसे राजनीतिक परिवारों के साथ काम करने का आरोप लगाया है.

उन्होंने कहा, ‘‘पाकिस्तान के लिए मेरी भविष्य की योजनाओं में सेना रचनात्मक भूमिका निभा सकती है. लेकिन इसमें संतुलन होना चाहिए. ऐसी स्थिति नहीं हो सकती कि एक चुनी हुई सरकार है जिसके पास लोगों द्वारा दी गई जिम्मेदारी है, लेकिन प्राधिकार कहीं और हो.’’

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