तुर्की में भूकंप की त्रासदी के बीच भारत की रेस्क्यू टीम लोगों को बचाने में जुटी है। एनडीआरएफ की टीम में रोमियो और जूली नाम के दो लैब्राडोर हैं। इनकी मदद से 6 साल की बच्ची को रेस्क्यू किया गया है।
International
oi-Jyoti Bhaskar


NDRF
Romeo
Julie
जैसे
बहादुरों
पर
करता
है
नाज,
तुर्की
में
भूकंप
की
त्रासदी
के
बीच
इस
जोड़ी
ने
6
साल
की
बच्ची
को
बचाया।
एनडीआरएफ
की
टीम
में
शामिल
लैब्राडोर
ब्रीड
के
दो
खोजी
कुत्तों
की
टीम-
रोमियो
और
जूली
ने
भूकंप
प्रभावित
तुर्की
में
6
साल
के
बच्चे
को
बचाया।
जानिए
इंसान
के
सबसे
अच्छे
दोस्त
की
बहादुरी
और
समझदारी
की
कहानी।
तुर्की
के
नूरदागी
में
भारत
के
राष्ट्रीय
आपदा
मोचन
बल
(NDRF)
ने
चमत्कारिक
रूप
से
छह
साल
की
एक
बच्ची
को
बचाया
और
सुर्खियां
बटोरीं।
इस
साहसी
रेस्क्यू
का
सारा
श्रेय
रोमियो
और
जूली
को
जाता
है
जो
एनडीआरएफ
के
डॉग
स्क्वॉड
में
शामिल
हैं।
रिपोर्ट्स
के
मुताबिक
रोमियो
और
जूली
वैसे
दुर्गम
इलाके
में
सफल
हुए
जहां
अत्याधुनिक
मशीनें
विफल
रहीं।
टनों
मलबे
के
नीचे
छोटी
बच्ची
के
ठिकाने
का
पता
लगाने
में
डॉग
स्क्वायड
ने
महत्वपूर्ण
भूमिका
निभाई
थी।
कहना
गलत
नहीं
होगा
कि
रोमियो
और
जूली
की
मदद
के
बिना
बच्ची
की
जान
नहीं
बच
सकती
थी।

गौरतलब
है
कि
एनडीआरएफ
वर्तमान
में
6
फरवरी
को
आए
भूकंप
से
बुरी
तरह
प्रभावित
नूरदगी
और
तुर्की
के
विभिन्न
हिस्सों
में
आपदा
स्थल
पर
मलबे
में
जान
बचाने
और
जीवित
लोगों
को
खोजने
का
हर
संभव
प्रयास
कर
रहा
है।
डॉग
हैंडलर
कॉन्स्टेबल
कुंदन
ने
बताया
कि
जूली
ने
नूरदगी
साइट
पर
मलबे
में
दबी
6
साल
की
जीवित
लड़की,
जिसकी
पहचान
बेरेन
के
रूप
में
हुई
उसे
सबसे
पहले
डिटेक्ट
किया।
उन्होंने
बताया,
“हमें
हमारी
सरकार
द्वारा
यहां
नूरदागी
में
खोज
और
बचाव
कार्यों
को
सुविधाजनक
बनाने
के
लिए
कहा
गया
था
और
हमारे
पास
मलबे
में
फंसी
जीवित
बच्ची
का
सुराग
था।
हमने
जूली
को
मलबे
के
अंदर
जाने
के
लिए
कहा।
वह
अंदर
गई
और
भौंकने
लगी,
जिससे
संकेत
मिला
कि
उसने
मलबे
के
नीचे
जीवित
व्यक्ति
को
पाया
है।
रोमांचक
रेस्क्यू
ऑपरेशन
के
बारे
में
समाचार
एजेंसी
एएनआई
की
रिपोर्ट
के
अनुसार
एनडीआरएफ
के
एक
अन्य
डॉग
अटेंडेंट
ने
बताया,
दोबारा
पुष्टि
के
लिए,
हमने
रोमियो
(मेल
लैब्राडोर)
को
मलबे
में
भेजा।
उसने
भी
भौंक
कर
पुष्टि
की।
इसे
साफ
हो
गया
कि
वास्तव
में
मलबे
के
नीचे
कोई
जिंदा
शख्स
दबा
है।
हालाँकि,
जीवित
शख्स
की
स्थिति
और
उम्र
के
बारे
में
कोई
नहीं
जानता
था,
लेकिन
कई
घंटों
की
कड़ी
मशक्कत
के
बाद
NDRF
के
रेस्क्यू
ऑपरेशन
में
6
साल
की
बेरेन
को
बचाने
में
सफलता
मिली।

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Earthquake
पीड़ितों
की
मदद
कर
छाईं
Uttarakhand
की
बेटी
Major
Bina
Tiwari
|
वनइंडिया
हिंदी
बता
दें
कि
नूरदागी
में
छह
मंजिला
इमारत
ढहने
के
बाद
इसके
मलबे
में
एनडीआरएफ
खोज
और
बचाव
अभियान
चला
रहा
है।
स्थानीय
लोगों
ने
एनडीआरएफ
को
मलबे
के
अंदर
जीवित
लोगों
के
बारे
में
सूचित
किया।
इसके
बाद
जूली
और
रोमियो
को
जीवित
पीड़ितों
का
पता
लगाने
का
काम
सौंपा
गया।
दोनों
बहादुर
सफल
भी
रहे।
लड़की
को
बचाने
के
लिए
एनडीआरएफ
की
सराहना
करते
हुए,
गृह
मंत्री
अमित
शाह
ने
ट्वीट
किया,
“हमारे
एनडीआरएफ
पर
गर्व
है।
तुर्कि
में
बचाव
अभियान
में
टीम
आईएनडी-11
ने
गाजियांटेप
शहर
में
एक
छह
वर्षीय
लड़की
बेरेन
की
जान
बचाई।
शाह
ने
पीएम
मोदी
(@narendramodi)
और
एनडीआरएफ-
@NDRFHQ
को
टैग
कर
कहा,
प्रधानमंत्री
के
मार्गदर्शन
में,
भारत
NDRF
को
दुनिया
की
अग्रणी
आपदा
प्रतिक्रिया
बल
बनाने
के
लिए
प्रतिबद्ध
हैं।
उन्होंने
हैशटैग
#OperationDost
भी
लिखा।
बता
दें
कि
भारत
ने
तुर्की
में
7.8
तीव्रता
के
भूकंप
के
तुरंत
बाद
‘ऑपरेशन
दोस्त’
की
घोषणा
की।
‘दोस्त’
देश
को
राहत
और
मानवीय
सहायता
सहित
खोज
और
बचाव
कार्यों
के
लिए
60
पैरा
फील्ड
अस्पताल
स्थापित
करने
के
लिए
भारतीय
सेना
और
एनडीआरएफ
से
एक
टीम
भेजी
गई
है।
रिपोर्ट्स
के
मुताबिक
भूकंप
के
तेज
झटकों
से
अब
तक
34
हजार
से
ज्यादा
लोगों
की
जान
जा
चुकी
है
और
7
दिन
बाद
भी
तलाशी
और
बचाव
अभियान
जारी
है।
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English summary
NDRF Romeo Julie labrador turkey earthquake 6 year child rescue