कर्नाटक चुनाव 2023 के पहले हुए ओपिनियन पोल बता रहे राज्य में त्रिशंकु विधानसभा बनेगी। जानिए पहल कब ऐसे परिणाम आए और किन पार्टियों ने मिलकर सरकार बनाई थी।
India
oi-Bhavna Pandey
कर्नाटक
विधानसभा
चुनाव
की
तारीखों
का
ऐलान
हो
चुका
है।
चुनाव
की
तारीखों
की
घोषणा
होत
ही
जहां
राजनीतिक
दलों
के
बीच
की
लड़ाई
तेज
हो
गई
है
वहीं
जनमत
सर्वेक्षणों
का
मौसम
10
मई
को
होने
वाले
कर्नाटक
चुनावों
के
साथ
वापस
आ
गया
है।
विभिन
टीवी
चैनलों
द्वारा
चुनाव
से
पहले
करवाए
जाने
वाले
ये
ओपिनिय
पोल
ये
समझने
के
लिए
उत्सुक
जनता
की
प्यास
बुझाते
हैं
कि
चुनावी
हवा
किस
तरफ
बह
रही
है।
हालांकि
इलेक्शन
से
पहले
प्री
ओपिनियन
पोल
की
उनकी
सटीकता
हमेशा
बहस
का
विषय
रही
है।
फर्स्ट-पास्ट-द-पोस्ट
प्रणाली
में,
सीट
शेयर
की
सही
भविष्यवाणी
करना
सर्वेक्षण
एजेंसियों
के
लिए
हमेशा
कठिन
रहा
है।
कर्नाटक
चुनाव
की
तारीख
की
घोषणा
होते
ही
चार
एजेंसियों
ने
बुधवार
को
अपने
नतीजे
जारी
किए,
जिनमें
से
दो
ने
त्रिशंकु
विधानसभा
का
संकेत
दिया
और
इनमें
से
मात्र
एक
ने
सुझाव
दिया
कि
बीजेपी
सबसे
बड़ी
पार्टी
हो
सकती
है
वहीं
बाकी
ने
कांग्रेस
को
सबसे
अधिक
सीट
पर
जीतने
का
दावा
किया
गया
है।
वहीं
कुमारस्वामी
की
पार्टी
को
एक
बार
फिर
किंगमेकर
की
भूमिका
में
होने
की
भविष्यवाणी
की
गई
है
और
इस
बार
कर्नाटक
में
त्रिशंकु
विधानसभा
होने
की
बात
सर्वेक्षण
में
सामने
आई
है।
हालांकि
ये
ओपिनियन
पोल
शत-प्रतिशत
सही
होगा
या
उससे
उलट
परिणाम
आएंगे
इसका
खुलासा
तो
13
को
परिणाम
आने
के
बाद
ही
होगा।
2018
में
त्रिशंकु
विधानसभा
इस
चुनाव
में
किसी
भी
पार्टी
को
पूर्ण
बहुमत
नहीं
मिला।
सबसे
अधिक
सीटें
भाजपा
को
104
सीटों
मिली,
वहीं
कांग्रेस
को
सबसे
अधिक
मत
प्रतिशत
मिला
परन्तु
वह
78
सीट
जीत
हासिल
कर
सकी
जनता
दल
(सेक्युलर)
को
37
सीटें
हासिल
कर
किंग
मेकर
बनी।
जेडीएस
और
कांग्रेस
ने
हाथ
मिलाया
और
सरकार
बनाई
लेकिन
कांग्रेस
विधायकों
में
टूट
के
बाद
2019
में
ही
सरकार
गिर
गई
और
भाजपा
ने
सरकार
बनाई।
2013
में
बनी
कांग्रेस
की
बहुमत
की
सरकार
कांग्रेस
122
सीटें
जीतकर
चुनावों
में
सबसे
बड़ी
पार्टी
साबित
हुई
बहुमत
से
नौ
सीटे
अधिक
जीत
कर
सरकार
बनाया।
जिसमें
सिद्धारमैया
मुख्यमंत्री
बने,
कांग्रेस
ने
नौ
वर्षों
के
बाद
सरकार
बनाई।
2008
में
निर्दलीय
उम्मीदवारों
के
संग
बनाई
त्रिशंकु
सरकार
कर्नाटक
के
इतिहास
में
पहली
बार
बीजेपी
ने
110
सीटें
जीतकर
सरकार
बनाई।
केवल
तीन
सीटों
से
बहुमत
कम
होने
पर,
पार्टी
ने
छह
निर्दलीय
उम्मीदवारों
के
साथ
गठबंधन
किया
था।
2004
में
त्रिशंकु
विधानसभा
2004
में
कुछ
समय
के
लिए,
राज्य
में
गठबंधन
सरकार
बनी,
जब
कोई
भी
पार्टी
बहुमत
हासिल
करने
में
कामयाब
नहीं
हुई।
बीजेपी
के
सबसे
बड़े
दल
के
रूप
में
उभरने
के
बावजूद,
कांग्रेस
और
जनता
दल
(सेक्युलर)
ने
गठबंधन
कर
सरकार
बनाई।
1999
में
कांग्रेस
ने
सरकार
बनाई
एसएम
कृष्णा
के
मुख्यमंत्री
बनने
के
साथ
कांग्रेस
ने
132
सीटें
हासिल
कर
सरकार
बनाई।
1994
में
जनता
दल
की
सरकार
एचडी
देवगौड़ा
की
जनता
दल
115
सीटें
जीतकर
सबसे
बड़ी
पार्टी
बनी
थी।
एचडी
देवेगौड़ा
ने
11
दिसंबर,
1994
से
31
मई,
1996
तक
मुख्यमंत्री
की
कुसी
संभाली
थी।
उनका
स्थान
जेएच
पटेल
ने
लिया,
जो
31
मई,
1996
से
7
अक्टूबर,
1999
तक
सत्ता
में
रहे।
1985
में
जनता
दल
पार्टी
की
सरकार
चुनाव
में
130
सीटें
जीतकर
जनता
दल
पार्टी
ने
सरकार
बनाई।
रामकृष्ण
हेगड़े
मुख्यमंत्री
बने।
अगस्त
1988
में,
एसआर
बोम्मई
मुख्यमंत्री
के
रूप
में
सफल
हुए।
1983
में
जनता
पार्टी
की
सरकार
जनता
पार्टी
95
सीटें
जीतकर
सबसे
बड़ी
पार्टी
के
रूप
में
उभरी।
रामकृष्ण
हेगड़े
ने
पहली
गैर-कांग्रेस
पार्टी
की
सरकार
बनाई
थी।
कर्नाटक
विधान
सभा
चुनाव
1978
1978
में
कांग्रेस
(इंदिरा
गांधी)
गुट
ने
149
सीटें
जीतीं,
जिसमें
देवराज
उर्स
मुख्यमंत्री
बने
थे।
1978
में
कांग्रेस
की
सरकार
1978
में
कांग्रेस
(इंदिरा
गांधी)
गुट
ने
149
सीटें
जीतीं,
जिसमें
देवराज
उर्स
मुख्यमंत्री
बने
थे।
कर्नाटक
चुनाव
2023:
बेटे
विजयेंद्र
को
सिद्धारमैया
के
खिलाफ
चुनाव
में
क्यों
नहीं
उतारना
चाहते
येदियुरप्पा?
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English summary
Karnataka Elections 2023: According to opinion polls, hung assembly, know how many times this happened before